आगरा 27 नवंबर ।
प्राचीन स्मारक पुरातत्व स्थल और अवशेष अधिनियम की धारा के तहत आरोपित सईद पुत्र रफ्फो निवासी बद्दी महल, ऊपर पहाड़, फतेहपुर सीकरी को दोषी पाते हुये ग्राम न्यायालय किरावली के पीठासीन अधिकारी माननीय अनुभव सिंह ने दो वर्ष कैद एवं 50 हजार रुपये के अर्थ दंड से दंडित किया।
थाना फतेहपुर सीकरी में दर्ज मामलें कें अनुसार संरक्षणसहायक कलंदर द्वारा 15 अगस्त 2016 को थाने पर रिपोर्ट दर्ज करा आरोप लगाया कि राष्ट्रीय महत्त्व के केंद्रीय सरंक्षित स्मारक रंग महल फतेहपुर सीकरी के विनियमित क्षेत्र में आरोपी सईद ने बिना अनुमति अवैध रूप से कमरें का निर्माण कराया ।
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सरंक्षित स्मारक के 100 मीटर के दायरे के क्षेत्र को प्रतिनिषिद्ध क्षेत्र एवं इसके परे मीटर के क्षेत्र को विनियमित क्षेत्र घोषित किया गया हैं । प्रतिनिषिद्ध क्षेत्र में किसी भी प्रकार का निर्माण, खनन आदि पूर्णतया वर्जित हैं।
जबकि विनियमित क्षेत्र में सक्षम अधिकारी द्वारा निर्गत अनापत्ति प्रमाणपत्र कें आधार पर ही निर्माण आदि किया जा सकता हैं, आरोपी द्वारा नियम का पालन नहीं किया हैं।
वादी की तहरीर पर आरोपी सईद के विरुद्ध प्राचीन स्मारक पुरातत्व स्थल और अवशेष अधिनियम की धारा 30 क एवं 30 ख के तहत थाना फतेहपुर सीकरी में मुकदमा दर्ज हुआ।
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ग्राम न्यायालय किरावली के पीठासीन अधिकारी माननीय अनुभव सिंह ने पत्रावली पर उपलब्ध सबूत एवं अभियोजन अधिकारी के तर्क पर आरोपी सईद को दोषी पातें हुये उसे दो वर्ष कैद एवं 50 हजार रुपये कें अर्थ दंड से दंडित किया।
अर्थ दंड अदा नहीं करने की दशा में आरोपी को दो माह अतिरिक्त की सजा से अदालत ने दंडित किया।
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