चुनाव याचिका दायर करते समय वादी के प्राधिकारी के समक्ष उपस्थित न होने के कारण याचिका पोषणीय नहीं – इलाहाबाद हाईकोर्ट

उच्च न्यायालय मुख्य सुर्खियां
ग्राम प्रधान के खिलाफ दाखिल चुनाव याचिका हाईकोर्ट ने की खारिज

आगरा / प्रयागराज 14 सितंबर ।

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कहा है कि ग्राम प्रधान के चुनाव के खिलाफ याचिका दाखिल करते समय सक्षम प्राधिकारी के समक्ष उपस्थित होना बाध्यकारी नियम है। इसका पालन न कर दाखिल चुनाव याचिका की पोषणीयता पर ग्राम प्रधान की आपत्ति निरस्त कर नोटिस जारी करने का सक्षम प्राधिकारी का आदेश अवैध होने के कारण निरस्त किए जाने योग्य है।

चुनाव याचिका दायर करते समय वादी का प्राधिकारी के समक्ष मौजूद होना जरूरी है। केवल याचिका पर हस्ताक्षर व फोटो लगाकर अधिवक्ता द्वारा पेश किए जाने से वादी की दाखिले के समय उपस्थिति नहीं मानी जा सकती।

Also Read - इलाहाबाद हाई कोर्ट ने सात साल से कम सजा वाले अपराधों में पुलिस को कानून का पालन करने का निर्देश

इसी के साथ हाईकोर्ट ने मिर्जापुर की लालगंज तहसील की ग्राम पंचायत खुटहा की प्रधान के खिलाफ एसडीएम सदर के समक्ष दाखिल चुनाव याचिका पोषणीय न मानते हुए खारिज कर दी है। कोर्ट ने याची की चुनाव याचिका की पोषणीयता पर की गई आपत्ति अर्जी मंजूर कर ली है।

यह आदेश न्यायमूर्ति सी.के.राय ने श्रीमती ममता की याचिका पर दिया है। याचिका पर अधिवक्ता नरेन्द्र कुमार पाण्डेय ने बहस की।

मालूम हो कि याची 26 अप्रैल 21को हुए चुनाव में ग्राम प्रधान चुनी गई। विपक्षी श्रीमती कृष्णाठ देवी ने ने चुनाव के खिलाफ सक्षम प्राधिकारी एसडीएम की अदालत में याचिका दायर की।

याचिका वकील के मार्फत दाखिल की गई। वादी दाखिले के समय अदालत में उपस्थित नहीं हुई। याची को नोटिस जारी की गई तो उसने याचिका की पोषणीयता पर यह कहते हुए आपत्ति की कि याचिका दायर करने में कानून के बाध्यकारी उपबंधो का पालन नहीं किया गया है। वादी ने भी जवाब दाखिल किया।

Also Read - इलाहाबाद हाई कोर्ट ने सरकारी जमीन से अवैध कब्जा हटाने की मांग में जनहित याचिका पर राज्य सरकार से किया जवाब तलब

एसडीएम ने याची की आपत्ति निरस्त कर सुनवाई करने का आदेश दिया। जिसे याचिका दाखिल कर चुनौती दी गई। याची अधिवक्ता एन.के.पांडेय का कहना था कि चुनाव याचिका पोषणीय नहीं है इसलिए खारिज की जाय।

विपक्षी अधिवक्ता का कहना था कि मध्यवर्ती आदेश के खिलाफ याचिका पोषणीय नहीं है। चुनाव याचिका विचाराधीन है। वकील के मार्फत निर्धारित शुल्क 50 रूपये का ग्राम सभा के नाम जमा कर चुनाव याचिका दायर की गई है।

वादी का दाखिले के समय उपस्थित रहना पंचायतराज एक्ट के किसी नियम में नहीं है। कोर्ट ने इस तर्क को नहीं माना और कहा केवल हस्ताक्षर व फोटो लगाकर दाखिल करने से उपस्थित होकर दाखिला नहीं माना जा सकता।

चुनाव याचिका खारिज होने योग्य है। इसकी सुनवाई जारी रखना कानूनी प्रक्रिया का दुरूपयोग होगा। कोर्ट ने कहा निर्णय लेने के लिए वापस भेजना उचित नहीं होगा और कोर्ट ने चुनाव याचिका खारिज कर दी।

Stay Updated With Latest News Join Our WhatsApp  – Group BulletinChannel Bulletin
मनीष वर्मा
Follow Me

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *