इलाहाबाद हाईकोर्ट ने अब्बास अंसारी की याचिका पर मांगा उत्तर प्रदेश राज्य सरकार से जवाब

आगरा/प्रयागराज, २८ मई इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मऊ जिले में 2022 में नफरत फैलाने वाले भाषण देने के आरोपी अब्बास अंसारी की याचिका पर प्रदेश सरकार से दो सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है। न्यायमूर्ति संजय कुमार सिंह की एकल पीठ ने इस मामले में विपक्षी गंगाराम इंस्पेक्टर को भी नोटिस जारी […]

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इलाहाबाद हाईकोर्ट ने पूछा कि बांके बिहारी मंदिर में पिछले वर्ष विशिष्ट अवसरों पर कितने श्रद्धालु आए सरकार पेश करें डाटा

कोर्ट ने सरकार से भीड़ प्रबंधन पर मांगा सुझाव कोर्ट ने कहा हटाये गये अतिक्रमण की स्टेटस रिपोर्ट सहित ब्योरा दिया जाय अगली सुनवाई 6 जनवरी को आगरा /प्रयागराज 05 दिसंबर । इलाहाबाद हाई कोर्ट ने राज्य सरकार से पिछले साल कृष्ण जन्माष्टमी, कार्तिक पूर्णिमा, हरियाली तीज, व होली के अवसर पर वृंदावन स्थित बांकेबिहारी […]

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सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश गैंगस्टर्स एक्ट की आलोचना करते हुए इसे ‘अमानवीय’ और ‘असंवैधानिक’ बताया

आगरा/नई दिल्ली बुधवार, 04 दिसंबर को भारत के सुप्रीम कोर्ट ने एक महत्वपूर्ण न्यायिक टिप्पणी में उत्तर प्रदेश गैंगस्टर्स और असामाजिक गतिविधियाँ (रोकथाम) अधिनियम, 1986 को “अमानवीय” बताया। यह टिप्पणी तब की गई जब सुप्रीम कोर्ट इलाहाबाद उच्च न्यायालय के मई 2023 के फैसले के खिलाफ अपील पर सुनवाई कर रहा था, जिसने कासगंज की […]

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SC

संविधान के मूल ढांचे के उल्लंघन के आधार पर किसी क़ानून को रद्द नहीं किया जा सकता : सुप्रीम कोर्ट

आगरा/नई दिल्ली 05 नवंबर । उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा बोर्ड अधिनियम 2004 से संबंधित मामले में सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि किसी क़ानून की संवैधानिक वैधता को केवल इस आधार पर चुनौती नहीं दी जा सकती कि उसने संविधान के मूल ढांचे का उल्लंघन किया। सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद हाईकोर्ट द्वारा इस आधार पर क़ानून […]

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SC

सुप्रीम कोर्ट ने यूपी मदरसा एजुकेशन एक्ट की वैधता रखी बरकरार

इलाहाबाद हाई कोर्ट का फैसला किया ख़ारिज आगरा/नई दिल्ली 05 नवंबर सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा बोर्ड अधिनियम 2004 की संवैधानिक वैधता बरकरार रखी और इलाहाबाद हाईकोर्ट का फैसला खारिज कर दिया, जिसने पहले इसे खारिज कर दिया था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा, हाईकोर्ट ने इस आधार पर अधिनियम खारिज करने में गलती […]

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SC with UP

सुप्रीम कोर्ट ने जातिगत भेदभाव पर स्टोरी करने वाले पत्रकार के विरुद्ध उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा दर्ज की गई एफआईआर पर किया अंतरिम संरक्षण प्रदान

आगरा 24 अक्टूबर । सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार के प्रशासन में जातिगत भेदभाव का आरोप लगाने वाले अपने लेख के लिए गिरफ्तार किए गए अन्य पत्रकार को अंतरिम संरक्षण प्रदान किया। जस्टिस बीआर गवई, जस्टिस प्रशांत कुमार मिश्रा और जस्टिस केवी विश्वनाथन की पीठ ने पत्रकार-ममता त्रिपाठी के पक्ष में आदेश पारित किया, […]

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सर्वोच्च अदालत ने कहा कि सरकार की आलोचना के लिए किसी पत्रकार के खिलाफ मुकदमा दर्ज नहीं होना चाहिए

अदालत ने इस बात पर जोर दिया कि किसी लेख को सरकारी अधिकारियों की आलोचना के रूप में देखने मात्र से पत्रकार के खिलाफ आपराधिक कार्यवाही की आवश्यकता नहीं होती आगरा / नई दिल्ली 05 अक्टूबर। अपने एक महत्वपूर्ण फैसले में, भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने संविधान के अनुच्छेद 19(1)(ए) के तहत पत्रकारों की सुरक्षा […]

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