शाइन सिटी घोटाला में 202 निवेशकों को इलाहाबाद हाईकोर्ट से नहीं मिली राहत

उच्च न्यायालय मुख्य सुर्खियां
कोर्ट ने जमा धन वसूली कार्यवाही का आदेश देने से किया इंकार
ई डी डायरेक्टर को परीक्षण कर वरिष्ठ अधिकारी का हलफनामा दाखिल करने का निर्देश

आगरा/ प्रयागराज 30 सितंबर।

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने शाइन सिटी इंफ्रा प्रोजेक्ट प्रा.लि. कंपनी के 202 निवेशकों को फिलहाल कोई राहत देने से इंकार कर दिया है और कहा कि संदेह है कि विशेष अदालत में कोई कार्यवाही चल रही है या नहीं, इसका विस्तृत ब्यौरा उपलब्ध नहीं है।

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कोर्ट ने कहा अंतिम आदेश देने से पहले प्रवर्तन निदेशालय से परीक्षण के लिए कहा जाना सही होगा और डायरेक्टर ईडी नई दिल्ली को अदालत की टिप्पणी को दृष्टिगत रखते हुए परीक्षण करने तथा वरिष्ठ अधिकारी का व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है।

याचिका की सुनवाई 21अक्टूबर को होगी।

यह आदेश न्यायमूर्ति अश्वनी कुमार मिश्र तथा न्यायमूर्ति डा गौतम चौधरी की खंडपीठ ने अमित कुमार गौतम व 201 निवेशको की याचिका की सुनवाई करते हुए दिया है।

याचिका पर ईडी की तरफ से मनोज कुमार सिंह व सीबीआई की तरफ से संजय यादव ने पक्ष रखा।

याचियों का कहना है कि हाईकोर्ट ने 1 जुलाई 24 के आदेश से कंपनी में निवेश करने वालों को वसूली कार्यवाही करने की अनुमति दी है। याचीगण को भी वैसा ही आदेश दिया जाय।

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कोर्ट ने कहा कि याचिका की पोषणीयता पर संदेह है कि क्या कोर्ट मांगा गया अनुतोष दे सकती है या नहीं ?

कोर्ट ने साफ कहा कि याचीगण कंपनी के निवेशक है। वे निवेश की गई राशि की 18 फीसदी ब्याज सहित वसूली की मांग में कोर्ट आये है। कोर्ट इनके ऐसे दावे पर विचार करने का निर्देश नहीं दे सकती।वे उचित फोरम में जा सकते हैं। इसमें मनी लांड्रिंग के अपराध सहित, हवाला व क्रिप्टो करेंसी के जरिए विदेशों में निवेश के आरोप है।

कोर्ट ने कहा पूरे प्रदेश में कंपनी के खिलाफ 454 से अधिक एफआईआर दर्ज है।

ईडी ने कंपनी डायरेक्टरों की संपत्तियों जब्त भी की है। हवाला के जरिए दुबई आदि देशों में धन लगाया है। याचियों के निवेश का विस्तृत ब्यौरा नहीं है।

निवेश की प्रकृति क्या है ? यह भी साफ नहीं है। इसलिए कोर्ट इनके निवेश की वसूली कार्यवाही का आदेश नहीं दे सकती।

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मनीष वर्मा
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