फतेहपुर सीकरी स्थित सांथा पुरातत्व स्थल संरक्षण केस की सुनवाई की तिथि 3 जनवरी नियत

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आगरा 27 नवंबर ।

फतेहपुर सीकरी के सांथा ग्राम में स्थित शमशान निर्माण के समय मिली 8वीं शताब्दी की पुरातात्विक महत्व की मूर्तियों व पुरातात्विक महत्व के स्थल का संरक्षण का केस संख्या-885/2024 अजय प्रताप सिंह बनाम ग्राम प्रधान सांथा आदि की सुनवाई अतिरिक्त सिविल जज(सी०डि०)-2 माननीय भव्या श्रीवास्तव की अदालत आगरा में हुई।

वादी अधिवक्ता अजय प्रताप सिंह ने बताया कि आज प्रतिवादी संख्या-1 ग्राम प्रधान सांथा ने केस में अपना जबाब दाखिल किया, जिसमें ग्राम प्रधान सांथा ने वादी पर भू माफिया होने का आरोप लगाया है तथा जातिसूचक शब्दों की गाली गलौज का आरोप लगाया है।

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वादी अजय प्रताप सिंह ने बताया कि वाद ग्रस्त संपत्ति सरकारी भूमि है जिसमें ग्राम प्रधान सांथा के साथ, जिलाधिकारी आगरा, पुलिस कमिश्नर आगरा, अधीक्षक- भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग आगरा सर्किल व गृह सचिव, गृह मंत्रालय, भारत सरकार है, केस दायर करने का उद्देश्य सिर्फ भारतीय संस्कृति का संरक्षण करना है जोकि उनका मूल अधिकार व मूल कर्तव्य है केस में उन्होंने माननीय न्यायालय से पुरातात्विक महत्व के स्थल को संरक्षित करने की प्रार्थना की है।

ग्राम प्रधान सांथा प्रधान के पद पर है देश की संस्कृति के संरक्षण की उनकी भी जिम्मेदारी है जो कार्य ग्राम प्रधान सांथा को करना चाहिए वह कार्य वादी को करना पड़ रहा है।

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माननीय न्यायालय ने केस की सुनवाई की अगली तिथि 3 जनवरी नियत की व दौरान सुनवाई वरिष्ठ अधिवक्ता नरेश सिकरवार, एस पी सिंह सिकरवार, अजय प्रताप सिंह, विपक्षी जिला शासकीय अधिवक्ता व एएसआई के अधिवक्ता विवेक शर्मा व सुभाष चन्द्र न्यायालय में उपस्थित रहे।

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विवेक कुमार जैन
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