आगरा: १० जून ।
आगरा में पांच बच्चों की मां के अपहरण और धोखाधड़ी का सनसनीखेज मामला सामने आया है। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट (सीजेएम ) माननीय मृत्युंजय श्रीवास्तव के आदेश पर थाना न्यू आगरा में संदीप, राकेश, उनकी मां और पिता निवासी नगला हवेली, खुटिया मंदिर के पास, दयाल बाग, थाना न्यू आगरा के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। आरोपियों पर महिला का अपहरण करने और उसका नाम बदलवाने की कोशिश करने सहित अन्य आरोप लगाए गए हैं।
क्या था पूरा मामला ?
वादी बंटी पुत्र पुरुषोत्तम, निवासी वीर नगर, दयालबाग, आगरा ने अपने अधिवक्ता चौधरी समीर के माध्यम से सीजेएम अदालत में एक प्रार्थना पत्र दिया था। प्रार्थना पत्र के अनुसार, बंटी की शादी 22 नवंबर 2004 को श्रीमती गीता पुत्री कुंवर सिंह, निवासी दोरेठा नंबर 1, आजम पांडा, थाना शाहगंज, जिला आगरा के साथ हुई थी। शादी के बाद उनके पांच बेटे हुए।
लगभग एक साल पहले बंटी की पत्नी गीता अचानक गायब हो गईं, जिसके बाद बंटी ने हर जगह उनकी तलाश की, लेकिन कोई जानकारी नहीं मिली।
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आधार कार्ड से खुला राज:
यह मामला तब सामने आया जब 28 मार्च 2025 को बंटी अपना आधार कार्ड निकलवाने एक जनसेवा केंद्र पर गए। वहां खड़े एक व्यक्ति के हाथ में उन्होंने अपनी पत्नी का आधार कार्ड देखा, जिसे देखकर वह दंग रह गए। वह व्यक्ति बंटी की पत्नी का नाम बदलवाने के लिए जनसेवा केंद्र पर आया था। पूछने पर उस व्यक्ति ने अपना नाम राकेश बताया और कहा कि बंटी की पत्नी उसके भाई संदीप के साथ रह रही है। राकेश ने बंटी के साथ गाली-गलौज भी की।
मारपीट और शिकायत:
राकेश ने अपने भाई संदीप को भी वहीं बुला लिया, जिसके बाद संदीप और राकेश ने बंटी के साथ मारपीट और गाली-गलौज की। जब बंटी अपने 19 वर्षीय बेटे और कुछ अन्य लोगों के साथ आरोपियों के घर गए, तो उन्होंने बंटी की पत्नी को घर में छिपा लिया और बंटी व अन्य लोगों के साथ गाली-गलौज कर उन्हें भगा दिया।
वादी के इस प्रार्थना पत्र पर अदालत के आदेश के बाद थाना न्यू आगरा में आरोपी संदीप, राकेश और उनके माता-पिता के खिलाफ संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। पुलिस अब मामले की जांच कर रही है।
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